चीनी नौसेना द्वारा समुद्र में तैनात किए जा रहे जासूसी जहाज एक ही कैटेगरी के हैं. ये जहाज युआन वांग VI बैलिस्टिक मिसाइल और उपग्रह पर नजर रखने में सक्षम है.
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चीन अपनी चालबाजी से कभी बाज नहीं आएगा. ड्रैगन की चालबाजी का ताजा मामला यह है कि भारत आगामी दिनों में मिसाइल टेस्ट करने वाला है. इससे पहले चीन ने हिंद महासागर में एक जासूसी जहाज को भेज दिया है. इससे कुछ महीने पहले चीन ने इसी तरह का एक जासूसी जहाज श्रीलंका के हंबनटोटा बंदरगाह पर डॉक किया था. मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, चीनी नौसेना द्वारा समुद्र में तैनात किए जा रहे जासूसी जहाज एक ही कैटेगरी के हैं. ये जहाज युआन वांग VI बैलिस्टिक मिसाइल और उपग्रह पर नजर रखने में सक्षम है.
मरीनट्रैफिक (MarineTraffic) के मुताबिक, चीनी जासूसी जहाज युआन वांग VI हिंद महासागर में प्रवेश कर चुका है और फिलहाल बाली के तट पर मौजूद है. मरीनट्रैफिक एक ऑनलाइन प्लेटफॉर्म है, जो जहाजों की आवाजाही को ट्रैक करता है. चीनी जाजूसी जहाज युआन वांग VI का आगमन ऐसे समय में हुआ है, जब भारत कुछ ही दिनों बाद मिसाइल टेस्ट करने वाला है, जिसकी तारीख की घोषणा की जा चुकी है. युआन वांग VI बैलिस्टिक मिसाइल और उपग्रह पर नजर रखने में सक्षम है.
भारत 10-11 नवंबर के बीच कर सकता है टेस्ट
ओपन-सोर्स इंटेलिजेंस एक्सपर्ट डेमियन साइमन के मुताबिक, भारत ने बंगाल की खाड़ी के ऊपर नो फ्लाई जोन के लिए एक अधिसूचना जारी किया है जो आगामी मिसाइल परीक्षण का संकेत देता है. भारत 10-11 नवंबर के बीच ओडिशा के तट पर एपीजे अब्दुल कलाम द्वीप से एक मिसाइल टेस्ट कर सकता है. यह मिसाइल 2200 किलोमीटर तक उड़ान भर सकती है. इसके मद्देनजर पश्चिम में श्रीलंका और पूर्व में इंडोनेशिया के बीच के क्षेत्र को अवरुद्ध कर दिया गया है, जिस पर मिसाइल के ऑपरेट होने की उम्मीद है.
#AreaWarning #India issues a notification for a no fly zone over the Bay of Bengal region indicative of upcoming missile test
Launch Window | 10 – 11 Nov 2022 pic.twitter.com/XqXVR2j9Y3
— Damien Symon (@detresfa_) October 22, 2022
ड्रैगन ने बढ़ाई भारत की टेंशन
ऐसे में भारत के लिए चिंता का सबब यह है कि चीन अब उस मिसाइल को ट्रैक करने की कोशिश कर रहा है, जिसका वह परीक्षण कर सकता है. चीन मिसाइल की क्षमताओं के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी प्राप्त कर रहा है, जैसे कि इसकी गति, सीमा और सटीकता. भारत व्हीलर द्वीप से अक्सर बैलिस्टिक मिसाइलों का परीक्षण करता है, जो एक डेजिनेटेड मिसाइल टेस्ट रेंज है.
चीन इसी साल अगस्त के महीने में एक जाजूसी जहाज को श्रीलंकाई बंदरगाह हंबनटोटा में डॉक किया था. इस जासूसी जहाज का नाम युआन वांग वी V था. भारत की चिंता न केवल युआन वांग की श्रेणी के जहाजों की तैनाती पर बल्कि हंबनटोटा बंदरगाह पर भी केंद्रित है, जिसे श्रीलंका ने चीन को 99 साल के लिए लीज पर दिया है. चीनी जासूसी जहाज की तैनाती पर भारत ने आपत्ति जताई थी. भारत ने श्रीलंका से कहा था कि वह चीनी जहाज को हंबनटोटा में डॉक करने की अनुमति न दें.
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