Highlightsबिहार के बक्सर में सनातन संस्कृति समागम का हो रहा है आयोजन इस आयोजन में इंडोनेशिया से बड़ी संख्या में हिंदू धर्मावलंबी पहुंचे संघ प्रमुख ने कहा- धर्म का पालन मन से होना चाहिए
पटना: बिहार के बक्सर में सनातन संस्कृति समागम का आयोजन हो रहा है। इसमें हिस्सा लेने के लिए इंडोनेशिया से बड़ी संख्या में हिंदू धर्मावलंबी पहुंचे हैं। वहीं, इस सम्मेलन में भाग लेने पहुंचे राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के सरसंघचालक मोहन भागवत ने मंगलवार को कहा कि भगवान हर बार अवतार लेकर हम सभी की इच्छा पूरी करने आते हैं। इच्छाएं तो बहुत मन में आती हैं, लेकिन संतों ने बताया है, होइहि वही जो राम रचि राखा। इच्छाओं को पूर्ण करने के लिए हमें भी अपना कर्म करना चाहिए।
उन्होंने कहा कि सत्य को पाना है, तो कर्म करना होगा। जत्थेदार जी ने कहा कर्म के साथ जप भी करो, मन में राम को रखो। भागवत ने कहा कि धर्म समाज को जोड़ कर रखने वाला। सबको सुख की अनुभूति देने वाला है। उन्होंने कहा कि किसी से डर के कर्म नहीं करो। धर्म का पालन मन से होना चाहिए। उन्होंने कहा कि जप करने में मैं का आभास नहीं रहता। सर्वत्र का आभास होता है। जप के लिए हिमालय पर नहीं जाना है। मन को अयोध्या बनाओ।
वहीं, इस मौके पर चिदानंद स्वामी ने कहा कि भारत केवल अपने लिए सांस नहीं लेता, पूरे विश्व के लिए सांस लेता है। स्मार्ट फोन के जमाने में ऐसा न हो कि मां बाप भी हमारे कवरेज से बाहर हो जाएं, बच्चो को संस्कार दीजिए। हमें धरती के लिए संकल्प लेना है। सभी लोग पेड़ लगाएं, सिंगल उसे प्लास्टिक से बचें, जल का संचयन करने का संकल्प लें।
वहीं, इस सम्मेलन में भाग लेने इंडोनेशिया के बाली से आए हिन्दू धर्म प्रचारक डॉ धर्म यशह ने बताया कि इंडोनेशिया में प्रत्येक पूर्णिमा को रामलीला का भव्य आयोजन होता है। इसे देखने के लिए देश विदेश से काफी लोग आते हैं। इंडोनेशिया के बाली राज्य में 80 फीसद हिंदू आबादी है। ऐसा माना जाता है कि इंडोनेशिया के बाली राज्य की स्थापना वानर राज बाली के पुत्र युवराज अंगद ने की थी। बाली का वध मर्यादा पुरुषोत्तम राम ने किया था। इसी से बाली राज्य में प्रत्येक पूर्णिमा के दिन रामलीला का भव्य आयोजन किया जाता है।
उन्होंने बताया कि इंडोनेशिया के लोगों के खून में रामायण है। सड़क, दुकान, होटल व लोगों के नाम भी रामायण के चरित्रों से जुड़े होते हैं। बाली राज्य में ब्रह्मा, विष्णु व महेश की पूजा हर जगह होती है। हर गली व चौक चौराहे पर मंदिर की स्थापना की गई है। वह रामलीला मंडली लेकर रामायण का प्रचार प्रसार भारत के दिल्ली, वाराणसी, कोलकाता व मनाली सहित अन्य जगहों पर कर चुके हैं। मंडली में करीब 85 लोग हैं, जो रामायण के प्रचार में तत्पर हैं। मंडली में दो सौ कलाकार प्रदर्शन करते है। मंडली के कलाकार हिन्दू नहीं है, फिर भी मनमोहक रामलीला प्रस्तुत करते हैं। यहां हर घर में रामायण का पाठ होता है।
Web Title: RSS chief Mohan Bhagwat Address Sanatan Sanskriti Samagam in Buxar
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