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संवाद न्यूज एजेंसी
झज्जर। सर्दी के मौसम में जोड़ों के दर्द से पीड़ित लोगों की मुश्किलें और बढ़ने लगी हैं। सामान्य अस्पताल में प्रतिदन करीब साठ मरीज घुटनों में दर्द के ईलाज करवाने के लिए पहुंच रहे हैं। अर्थराइटिस के वजह से जोड़ों में सूजन आ जाती है, जिस कारण असहनीय दर्द होता है। इस दर्द का असर सेहत पर भी धीरे-धीरे दिखने लगता है। अर्थराइटिस के कारण जोड़ों में मौजूद कार्टिलेज धीरे-धीरे क्षतिग्रस्त होने लगती है और इस वजह से हड्डियां आपस में एक-दूसरे से घिसने या रगड़ने लगती हैं। इसके अलावा सर्दी बढ़ने पर शरीर में सूजन भी होने लगता है। बुजुर्गों के अलावा आजकल युवाओं में समस्या देखने का मिल रही है।
चिकित्सकों ने बताया कि आजकल की युवा पीढ़ी व्यायाम पर ज्यादा ध्यान नहीं देती है और फास्ट फूड व जंक फूड का ज्यादा सेवन करती है। जिससे उनमें विटामिन, कैल्शियम आदि की कमी हो जाती है। सर्दियों में हड्डी और जोड़ों का दर्द बढ़ जाता है। तापमान में कमी के कारण नसें सिकुड़ जाती हैं और विटामिन डी की कमी वाले लोगों में हड्डियों और जोड़ों का दर्द बढ़ जाता है। ऐसे में सर्दियों के मौसम की धूप लोगों को हड्डी और जोड़ों के दर्द से बचाएगी। सुबह या दोपहर को बुजुर्ग धूप जरूर तापें।
तैराकी और साइकिलिंग जैसे कसरतों से आप अपना ज्वॉइंट रोटेशन कर सकते हैं। इन कामों को आप अपने जीवन शैली में शामिल करें। जोड़ों के इस घुमाव से आपको इसमें दर्द से राहत मिलेगी और स्थिति को बिगड़ने से रोकने में मदद मिलेगी। इसके अलावा सुबह शाम सैैर करने से भी फायदा मिल सकता है। हालांकि टहलते हुए इस बात का ध्यान रखें कि ज्यादा तेजी से न चलें,समतल भूमि पर चले और आरामदायक व अच्छी क्वालिटी के जूते पहनकर ही टहलें। चिकित्सक की सलाह के अनुसार बताए गई योग क्रियाएं सर्वाइकल की समस्या से निजात दिलाएंगी।
सामान्य अस्पताल के हड्डी रोग विशेषज्ञ डॉ विकास अहलावत ने बताया कि हड्डी और जोड़ों के दर्द और सर्वाइकल की स्थिति में बिना चिकित्सक की सलाह के कोई भी अभ्यास या योग न करें। इससे समस्या और बढ़ सकती है। दर्द की स्थिति में बिना चिकित्सक की सलाह के कोई भी पेन किलर या अन्य दवाई का सेवन न करें। सर्दियों में लोग ज्यादातर समय पूरे शरीर को ढकने वाले कपड़े पहनते हैं।
इससे शरीर को सूर्य की रोशनी नहीं मिल पाती है, जबकि तापमान में ठंडक होने के कारण शरीर की नसें सिकुड़ती हैं। ऐसे में लोग अकसर हड्डी और जोड़ों के दर्द की चपेट में आते हैं।
धूप में बैठें और त्वचा को धूप लगने दें, पानी उचित मात्रा में पीएं एवं खाने का ध्यान रखें। बिना चिकित्सक की सलाह एक्सरसाइज और दवाई का सेवन न करें, हीटिंग पैड का प्रयोग ज्यादा समय तक न करें। वही गर्म पानी की सेक घुटने पर लगाते रहे।
लक्षण:
सर्दियों में उन लोगों को यह समस्या अधिक होती है, जिन्हें पहले कोई चोट लगी हो या जिन लोगों में विटमिन डी की कमी हो। इसके अलावा जिन लोगों को पूर्व में भी जोड़ों का दर्द है, उन्हें सर्दियों में यह समस्या अधिक हो जाती है।
थकान, कमजोरी, तेज एवं धीमा दर्द होना, रह रहकर उठने वाला दर्द, जोड़ों को छूने पर दर्द होना, जोड़ों में अकड़न, सर्वाइकल की स्थिति में गर्दन दर्द, कमर दर्द आदि शामिल हैं।
वर्जन
सामान्य अस्पताल में घुटनों के ऑपेरशन किए जा रहे हैं। यदि किसी का आयुष्मान कार्ड है तो उस मरीज का निशुल्क आपरेशन किया जाता है। यदि किसी मरीज को घुटनों का ऑपरेशन करवाना है तो दवाईयों का खर्च स्वयं मरीज को देना होगा। चिकित्सकों की ओर से निशुल्क ऑपरेशन किए जा रहे हैं।
– डॉ विकास अहलावत, हड्डी रोग विशेषज्ञ, सामान्य अस्पताल, झज्जर।
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झज्जर। सर्दी के मौसम में जोड़ों के दर्द से पीड़ित लोगों की मुश्किलें और बढ़ने लगी हैं। सामान्य अस्पताल में प्रतिदन करीब साठ मरीज घुटनों में दर्द के ईलाज करवाने के लिए पहुंच रहे हैं। अर्थराइटिस के वजह से जोड़ों में सूजन आ जाती है, जिस कारण असहनीय दर्द होता है। इस दर्द का असर सेहत पर भी धीरे-धीरे दिखने लगता है। अर्थराइटिस के कारण जोड़ों में मौजूद कार्टिलेज धीरे-धीरे क्षतिग्रस्त होने लगती है और इस वजह से हड्डियां आपस में एक-दूसरे से घिसने या रगड़ने लगती हैं। इसके अलावा सर्दी बढ़ने पर शरीर में सूजन भी होने लगता है। बुजुर्गों के अलावा आजकल युवाओं में समस्या देखने का मिल रही है।
चिकित्सकों ने बताया कि आजकल की युवा पीढ़ी व्यायाम पर ज्यादा ध्यान नहीं देती है और फास्ट फूड व जंक फूड का ज्यादा सेवन करती है। जिससे उनमें विटामिन, कैल्शियम आदि की कमी हो जाती है। सर्दियों में हड्डी और जोड़ों का दर्द बढ़ जाता है। तापमान में कमी के कारण नसें सिकुड़ जाती हैं और विटामिन डी की कमी वाले लोगों में हड्डियों और जोड़ों का दर्द बढ़ जाता है। ऐसे में सर्दियों के मौसम की धूप लोगों को हड्डी और जोड़ों के दर्द से बचाएगी। सुबह या दोपहर को बुजुर्ग धूप जरूर तापें।
तैराकी और साइकिलिंग जैसे कसरतों से आप अपना ज्वॉइंट रोटेशन कर सकते हैं। इन कामों को आप अपने जीवन शैली में शामिल करें। जोड़ों के इस घुमाव से आपको इसमें दर्द से राहत मिलेगी और स्थिति को बिगड़ने से रोकने में मदद मिलेगी। इसके अलावा सुबह शाम सैैर करने से भी फायदा मिल सकता है। हालांकि टहलते हुए इस बात का ध्यान रखें कि ज्यादा तेजी से न चलें,समतल भूमि पर चले और आरामदायक व अच्छी क्वालिटी के जूते पहनकर ही टहलें। चिकित्सक की सलाह के अनुसार बताए गई योग क्रियाएं सर्वाइकल की समस्या से निजात दिलाएंगी।
सामान्य अस्पताल के हड्डी रोग विशेषज्ञ डॉ विकास अहलावत ने बताया कि हड्डी और जोड़ों के दर्द और सर्वाइकल की स्थिति में बिना चिकित्सक की सलाह के कोई भी अभ्यास या योग न करें। इससे समस्या और बढ़ सकती है। दर्द की स्थिति में बिना चिकित्सक की सलाह के कोई भी पेन किलर या अन्य दवाई का सेवन न करें। सर्दियों में लोग ज्यादातर समय पूरे शरीर को ढकने वाले कपड़े पहनते हैं।
इससे शरीर को सूर्य की रोशनी नहीं मिल पाती है, जबकि तापमान में ठंडक होने के कारण शरीर की नसें सिकुड़ती हैं। ऐसे में लोग अकसर हड्डी और जोड़ों के दर्द की चपेट में आते हैं।
धूप में बैठें और त्वचा को धूप लगने दें, पानी उचित मात्रा में पीएं एवं खाने का ध्यान रखें। बिना चिकित्सक की सलाह एक्सरसाइज और दवाई का सेवन न करें, हीटिंग पैड का प्रयोग ज्यादा समय तक न करें। वही गर्म पानी की सेक घुटने पर लगाते रहे।
लक्षण:
सर्दियों में उन लोगों को यह समस्या अधिक होती है, जिन्हें पहले कोई चोट लगी हो या जिन लोगों में विटमिन डी की कमी हो। इसके अलावा जिन लोगों को पूर्व में भी जोड़ों का दर्द है, उन्हें सर्दियों में यह समस्या अधिक हो जाती है।
थकान, कमजोरी, तेज एवं धीमा दर्द होना, रह रहकर उठने वाला दर्द, जोड़ों को छूने पर दर्द होना, जोड़ों में अकड़न, सर्वाइकल की स्थिति में गर्दन दर्द, कमर दर्द आदि शामिल हैं।
वर्जन
सामान्य अस्पताल में घुटनों के ऑपेरशन किए जा रहे हैं। यदि किसी का आयुष्मान कार्ड है तो उस मरीज का निशुल्क आपरेशन किया जाता है। यदि किसी मरीज को घुटनों का ऑपरेशन करवाना है तो दवाईयों का खर्च स्वयं मरीज को देना होगा। चिकित्सकों की ओर से निशुल्क ऑपरेशन किए जा रहे हैं।
– डॉ विकास अहलावत, हड्डी रोग विशेषज्ञ, सामान्य अस्पताल, झज्जर।
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